रिलायंस जियो चैट जीपीटी की तरह ही ‘भारत GPT’ विकसित करने की योजना बना रही है। इसके अलावा, कंपनी ने इस पर आईआईटी बॉम्बे के साथ सहयोग करना भी शुरू कर दिया है। यह जानकारी जियो इन्फोकॉम के चेयरमैन आकाश अंबानी ने आईआईटी बॉम्बे के वार्षिक टेक-फेस्ट में अपनी बातचीत के दौरान दी।
आकाश अंबानी के मुताबिक, स्टार्टअप चैट-जीपीटी और जेनरेटिव एआई जैसे विशाल भाषा मॉडल से प्रभावित है। उनका मानना है कि अगले दशक में इन अनुप्रयोगों का बोलबाला रहेगा।
कंपनी एक टेलीविज़न ऑपरेटिंग सिस्टम जारी करेगी।
अंबानी ने यह भी कहा कि जियो अपना खुद का टेलीविजन ऑपरेटिंग सिस्टम विकसित करने पर विचार कर रहा है। इसके अलावा, रिलायंस जियो वाणिज्य, संचार और गैजेट्स सहित विभिन्न उद्योगों में सामान और सेवाएं पेश करने की योजना बना रहा है।
आकाश ने कहा, “मेरे लिए एआई का मतलब ‘सभी सम्मिलित’ है।”
आकाश अंबानी के मुताबिक, निगम अपने संगठन के अंदर एआई को एक क्षेत्र के रूप में तैनात करने के लिए तैयार है। उन्होंने टिप्पणी की, ‘एआई, मेरे लिए, कृत्रिम बुद्धिमत्ता के साथ-साथ इसमें शामिल होना, सब कुछ एक साथ करना है।’
सितंबर में, एयर फाइबर की शुरुआत हुई।
इस साल गणेश चतुर्थी पर कंपनी ने अपनी एयर फाइबर सेवा का उद्घाटन किया। यह सेवा तब आठ शहरों में शुरू की गई थी: अहमदाबाद, बेंगलुरु, चेन्नई, दिल्ली, हैदराबाद, कोलकाता, मुंबई और पुणे। जियो ने एयर फाइबर इंस्टालेशन के लिए 1000 रुपये की लागत लगाई है।