खाटू श्याम मंदिर में क्या है खास, जानें कलियुग में किस वजह से होती है Khatoo की पूजा

Khatu Shyam

खाटू श्याम मंदिर, राजस्थान के सीकर नामक स्थान पर स्थित है. कहा जाता है कि यह मंदिर भगवान श्रीकृष्ण के सबसे ज्यादा प्रसिद्ध मंदिरों में से एक है. मान्यतानुसार, कलियुग में खाटू श्याम (Khatu Shyam Ji) जी सबसे प्रसिद्ध भगवान हैं. मान्यता है क जो भक्त खाटू श्याम के मंदिर (Khatu Shyam Mandir) में जाकर खाटू श्याम से जो भी मांगते हैं वह जरूर पूरा होता है. बता दें कि खाटू श्याम में हर महीने मेला लगता है, जिसमें लाखों की संख्या में श्रद्धालु दर्शन करने के लिए आते हैं. आइए जानते हैं इस मंदिर के बारे में खास बातें.

महाभारत काल से है खाटू श्याम का संबंध

पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, बाबा खाटू श्याम (Baba Khatu Shyam) का संबंध महाभारत काल से है. कहा जाता है कि ये पांडुपुत्र भीम के पोते हैं. मान्यता यह भी है कि भगवान श्रीकृष्ण खाटू श्याम की शक्तियों और क्षमता से प्रसन्न होकर उन्हें कलियुग में अपने नाम से पूजने का वरदान दे दिया था. यही कारण है कि कलियुग में खाटू श्याम की पूजा होती है.

कैसे पहुंचे खाटू श्याम

खाटू श्याम जी का मंदिर (Khatu Shyam Mandir) राजस्थान की राजधानी जयपुर शहर से 80 किमी दूर खाटू गांव में स्थित है. यहां पहुंचने के लिए सबसे पास का रेलवे स्टेशन रिंगस है. जहां से बाबा के मंदिर की दूरी 18.5 किमी है. रेलवे स्टेशन से निकलने के बाद आपको मंदिर के लिए टैक्सी और जीप ले सकते हैं. अगर आप फ्लाइट से जा रहे हैं, तो सबसे नजदीकी एयरपोर्ट जयपुर इंटरनेशनल एयरपोर्ट है. यहां से मंदिर की दूरी 95 किमी है. अगर आप दिल्ली से बाय रोड खाटू श्याम मंदिर जा रहे हैं, तो आपको पहुंचने में करीबन 4 से 5 घंटे का समय लगेगा. 

हर साल लगता है खाटूश्याम मेला

हर साल होली के दौरान खाटू श्यामजी का मेला लगता है. इस प्रसिद्ध मेले में देश-विदेश से भक्तजन बाबा खाटू श्याम जी के दर्शन के लिए आते हैं. इस मंदिर में भक्तों की गहरी आस्था है. बाबा श्याम, हारे का सहारा, लखदातार, खाटूश्याम जी, मोर्विनंदन, खाटू का नरेश और शीश का दानी इन सभी नामों से खाटू श्याम को उनके भक्त पुकारते हैं. खाटूश्याम जी मेले का आकर्षण यहां होने वाली मानव सेवा भी है. बड़े से बड़े घराने के लोग आम आदमी की तरह यहां आकर श्रद्धालुओं की सेवा करते हैं. मान्यता है कि ऐसा करने से करने से पुण्य की प्राप्ति होती है.

Source: ln.run/V1nVK

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